वार के अनुसार कार्य अकार्य का विचार

 वार के अनुसार कार्य अकार्य का विचार -:

ज्योतिष शास्त्र के अनुसार प्रत्येक वार का नाम ग्रह के नाम पर है। अतः ग्रह के स्वभाव के अनुसार ही तदवार को किए जाने वाले कार्य अकार्य का विचार किया जाता है। क्योंकि प्रत्येक ग्रह की प्रकृति स्वभाव गुणधर्म अलग-अलग प्रकार के होते हैं। अतः जो बार जिस ग्रह से संबंधित होता है उसके स्वभाव प्रकृति गुण धर्म के अनुसार ही शास्त्र ने कार्य अकार्य का विचार वर्णित किया है। तो आइए जानते हैं किस वार को कौन सा कार्य करने पर सिद्धि की प्राप्ति होती है।

रविवार -:

रविवार के दिन संगीत वाद्य आदि शिक्षा, स्वास्थ्य, औषधि सेवन मोटरयान सवारी, नौकरी, पशु खरीदी, हवन मंत्र, उपदेश, शिक्षा दीक्षा, अस्त्र-शस्त्र, वस्त्र, धातु की खरीद और बेचना वाद विवाद, न्याय विषयक सलाह, नवीन कार्य पद ग्रहण तथा राज्य प्रशासनिक कार्य, सेना संचालन ,आदि कार्य शुभ होते हैं। रविवार का संबंध सूर्यदेव से होता है और सूर्य देव एक उर्जा का कारक व उग्र स्वभाव के अग्नि तत्व प्रधान ग्रह है। अतः उनके स्वरूप के अनुरूप उक्त कार्य करना शुभ होता हैं।

सोमवार -:

सोमवार का संबंध चंद्रदेव से होता है चंद्रदेव मन व जल प्रकृति के सौम्य स्वभाव के ग्रह है। सभी प्रकार के शुभ कार्यों के साथ-साथ निम्न कार्य हम सोमवार को कर सकते हैं। जैसे - कृषि खेती यंत्र खरीदी, बीज बोना, बगीचा ,फल वृक्ष लगाना, वस्त्र तथा रत्न धारण, औषधि क्रय विक्रय, भ्रमण यात्रा, कला  कार्य, स्त्री प्रसंग, नवीन कार्य, अलंकार धारण, पशुपालन, वस्त्र भूषण क्रय विक्रय हेतु अति शुभ दिवस होता है।

मंगलवार -:

मंगलवार का संबंध मंगल ग्रह से होता है और मंगल सेनापति उग्र स्वभाव व अग्नि प्रकृति का ग्रह होता है। अतः मंगलवार के दिन हम विशेषकर शुभ कार्य का परित्याग करके निम्न कार्य कर सकते हैं जो मंगल देव की प्रकृति से समता रखते हैं। जैसे- जासूसी कार्य, भेद  लेना, कर्ज देना, गवाही, चोरी, विष कार्य, असत्य कार्य, अग्नि विशेष कार्य, सेना संग्राम, युद्ध नीति रीति, वाद-विवाद निर्णय, साहसी कृत्य, आदि मंगलवार के दिन शुभ होते हैं। लेकिन मंगलवार को कभी भी ऋण नहीं लेना चाहिए क्योंकि ऋण लेना अति अशुभ होता है।

बुधवार -:

बुधवार के दिन ऋण देना अशुभ होता है तथा शिक्षा दीक्षा विषयक कार्य ,विद्यारंभ अध्ययन, चातुर्य कार्य, सेवा वृर्ती ,बहीखाता हिसाब विचार, शिल्प कार्य, निर्माण कार्य, नोटिस देना , ग्रहप्रवेश, राजनीति विचार, शाला गमन अति शुभ होता है। क्योंकि बुधवार का संबंध बुद्ध से होता है और बुद्ध वाणी वाकपटुता चातुर्य व वाणिज बुद्धि प्रधान ग्रह है।

गुरुवार -:

गुरुवार के दिन ज्ञान विज्ञान की शिक्षा, धर्म न्याय विषयक कार्य, अनुष्ठान, साइंस, कानूनी व कला संकाय शिक्षा प्रारंभ, ग्रह शांति मांगलिक कार्य, नवीन पद ग्रहण, वस्त्र आभूषण धारण, यात्रा, इंजन मोटर वाहन चालन, औषधि सेवन, निर्माणकार्य शुभ होता है। गुरुवार का संबंध बृहस्पति से होता है और बृहस्पति ज्ञान का कारक होने के साथ ही सबसे सौम्य ग्रह माना जाता है।

शुक्रवार -:

शुक्रवार के दिन भौतिक कार्य, गुप्त विचार गोष्ठी, प्रेम व्यवहार, मित्रता, वस्त्र, मणि रतन धारण तथा निर्माण, नाटक छायाचित्र फिल्म संगीत आदि कार्य शुभ होते हैं। भंडार भरना, खेती करना , धन्य रोपण, आयु, ज्ञान, शिक्षा,  सभी कार्य करना शुभ होता है। शुक्र ग्रह  सांसारिक भौतिकवाद सुख की प्राप्ति कराने वाला सबसे सौम्य ग्रह होता है।

शनिवार -:

गृह प्रवेश, निर्माण कार्य, नौकर चाकर रखना, धातु, लोहा, मशीनरी, कलपुर्जों के कार्य, गवाही, व्यापार विचार, वाद विवाद, दुष्ट कार्य, वाहन खरीदना, सेवा विषयक कार्य करना अति शुभ होता है। परंतु बीज बोना कृषि खेती कार्य शुभ नहीं होते हैं।


एस्ट्रोलॉजर ::

 आचार्य कोशल कुमार शास्त्री

 वैदिक ज्योतिष शोध संस्थान

 चौथ का बरवाड़ा, सवाई माधोपुर राजस्थान, 9414 6572 45

एस्ट्रोलॉजर आचार्य केके शास्त्री


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